रांझणा को हुए आठ साल: सोनम कपूर फिल्म से हुईं हिट, धनुष को बॉलीवुड में मिली जगह

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रांझणा को हुए आठ साल: सोनम कपूर फिल्म से हुईं हिट, धनुष को बॉलीवुड में मिली जगह

जोया और कुंदन की बचपन के प्यार की कहानी आज भी दर्शकों को याद है। आनंद एल राय की फिल्म रांझणा ने आज आठ साल पूरे कर लिए हैं। बनारस की गलियों से निकली कु

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जोया और कुंदन की बचपन के प्यार की कहानी आज भी दर्शकों को याद है। आनंद एल राय की फिल्म रांझणा ने आज आठ साल पूरे कर लिए हैं। बनारस की गलियों से निकली कुंदन और जोया की प्रेम कहानी। जिसे बड़े पर्दे पर सोनम कपूर और धनुष ने फिल्म ‘रांझणा’ में दिखाया। इस फिल्म को दर्शकों ने खूब प्यार दिया था। इस फिल्म में सोनम कपूर के अभिनय को दर्शकों ने बहुत सराहा था तो वहीं साउथ स्टार धनुष को भी साउथ और बॉलीवुड के प्रशंसकों से खूब प्यार मिला।

आनंद एल राय की फिल्म ‘रांझणा’ की कहानी जितनी मजबूत थी, उतने ही अधिक फिल्म के डायलॉग्स लोकप्रिय हुए। फिल्म का म्यूजिक दर्शकों को बहुत ही पसंद आया। आज भी कई प्रेमी अपनी प्रेमिका के लिए ‘रांझणा हुआ मैं तेरा’ गाते हैं और इसी के साथ फिल्म के डायलॉग्स आज भी लोगों की जुबान पर हैं। तनु वेड्स मनु के अलावा ये फिल्म निर्देशक के तौर पर आनंद एल राय के करियर की सबसे बेहतरीन फिल्म मानी जाती है।

इस फिल्म की शूटिंग बनारस और दिल्ली में की गई थी। ये कहानी कुंदन की है जिसे बचपन में पहली नजर में जोया से प्यार हो जाता है। जोया पढ़ने के लिए दिल्ली चली जाती है, वहां उसे जसजीत सिंह यानी कि अभय देओल से प्यार हो जाता है। कुंदन अपने प्यार का इंतजार सालों तक करता है। लेकिन उसका इंतजार ही उसकी मौत का कारण बन जाता है। छोटा कुंदन जोया से चोला लेने जाता है जहां छोटी सी जोया नमाज पढ़ रही होती हैं और उसे पहली नजर में ही जोया से प्यार हो जाता है। धनुष का किरदार ‘कुंदन’ यहां अपनी भावनाओं को व्यक्त करता है ‘नमाज में वो थी और दुआ हमारी कुबूल हो रही थी।’ यहां से जोया और कुंदन की अलग और अनोखी प्रेम कहानी की शुरुआत हो जाती है। कुंदन का बचपन जोया के प्यार में ही कब जवान हो जाता है उसे भी पता नहीं चलता। लेकिन बचपन के प्यार पर परिवार का पहरा पड़ जाता है और जोया के पिता उसे कुंदन और बनारस से दूर दिल्ली पढ़ने भेज देते है। यहां से कहानी में असल मोड़ शुरू होता है। कुंदन, जोया के प्यार में ‘रांझणा’ बन जाता है।

ये कहानी अगर सिर्फ आप किसी की मुंह जुबानी सुनेंगे तो इसमें आपको कुछ खास नहीं लगेगा। लेकिन इसी साधारण सी कहानी को आनंद एल राय ने जबरदस्त तरह से फिल्माया। उन्होंने फिल्म में सोनम उर्फ जोया की मासूमियत दिखाई तो वहीं जोया के प्यार में रांझणा हुए को कुंदन यानि की धनुष की हर मनचली अदा को बहुत ही खूबसूरती के साथ परदे पर उतारा। लेकिन ये कहानी केवल कुंदन और जोया की नहीं बल्कि बिंदिया (स्वरा भास्कर), मुरारी (जीशान अय्युब) और जसजीत सिंह (अभय देओल) की भी है। सभी ने अपने अभिनय से फिल्म में चार चांद लगा दिए।

सोनम कपूर को इस फिल्म में एक नया मुकाम दिया। इस फिल्म से पहले सोनम की कई फिल्में बुरी तरह फ्लॉप हुईं। लेकिन साल 2013 में आई रांझणा ने रातो-रात सोनम के करियर को बदल कर रख दिया और उन्हें बॉलीवुड की बेहतरीन अभिनेत्रियों की लिस्ट में शामिल किया। सोनम ने इस फिल्म में जोया के किरदार से सबका दिल जीता और इस फिल्म में सोनम ने अपना 100% दिया। सोनम की जब भी बेहतरीन फिल्मों की बात की जाती है तो उसमें रांझणा का नाम जरूर शामिल होता है।

साउथ में तो धनुष मशहूर थे ही, लेकिन इस फिल्म की रिलीज के बाद इस अभिनेता ने हिंदी दर्शकों के दिल में भी अपनी अलग जगह बनाई। धनुष की कुंदन के रूप में तमिल एक्सेंट वाली हिंदी ने दर्शकों का दिल जीत लिया। फिल्म में उनके डायलॉग्स से लेकर उनका मनचला अंदाज भी दर्शकों को खूब पसंद आया। इस फिल्म ने साउथ सिनेमा के साथ धनुष के लिए हिंदी सिनेमा के दरवाजे भी खोल दिए।