अभिनेत्री नरगिस ने हिंदी सिनेमा में पांच साल की उम्र में कदम रखा। उनकी पहली फिल्म 1935 में आई ‘तलाश-ए-हक’ थी। इसमें उनका छोटा सा रोल था। करीब तीन दशको
अभिनेत्री नरगिस ने हिंदी सिनेमा में पांच साल की उम्र में कदम रखा। उनकी पहली फिल्म 1935 में आई ‘तलाश-ए-हक’ थी। इसमें उनका छोटा सा रोल था। करीब तीन दशकों तक उन्होंने सिनेमा जगत में अपनी धाक जमाए रखी और लाखों-करोंड़ों दिलों पर राज किया। तीन मई 1981 को बॉम्बे (अब मुंबई) में उनका कैंसर से निधन हो गया।
नरगिस के पिता का नाम मोहनचंद उत्तमचंद था, जो कि पंजाबी मोहियल ब्राह्मण थे। बाद में उन्होंने मुस्लिम धर्म ग्रहण कर लिया और अपना नाम अब्दुल राशिद रख लिया। नरगिस की मां जद्दन बाई थीं जो कि हिंदुस्तानी क्लासिकल गायिका थीं। नरगिस ने मुख्य भूमिका के तौर पर फिल्म तकदीर (1943) की। उस वक्त उनकी उम्र 14 साल थी।
नरगिस और राज कपूर ने साथ में कई फिल्में कीं। दोनों के बीच करीबी रिश्ता था जबकि राज कपूर पहले से शादीशुदा थे। बताया जाता है नरगिस ने राज कपूर से पत्नी को तलाक देने के लिए कहा था लेकिन उन्होंने मना कर दिया जिसके बाद नरगिस ने राज कपूर से नौ साल का रिश्ता खत्म कर लिया।
‘मदर इंडिया’ में नरगिस और सुनील दत्त अहम रोल में थे। फिल्म की शूटिंग के दौरान एक हादसा हुआ। उस वक्त सुनील दत्त ने नरगिस को बचाया था जिसके बाद दोनों के बीच नजदीकियां बढ़ीं। 11 मार्च 1958 में सुनील दत्त और नरगिस ने शादी की।
शादी के बाद नरगिस ने फिल्मों को अलविदा कह दिया। उनके तीन बच्चे संजय दत्त, प्रिया दत्त और नम्रता दत्त हुए।